दुनिया की निगाह में एक युवा स्त्री तभी माँ के रूप में दिखाई देती है जब वह एक नवजात शिशु के साथ एक फ्रेम में साथ दिखाई दे| मानसिक तौर पर जब स्त्री तैयार हो जाती है मातृत्व की ओर... Continue Reading →
अपनी किशोरावस्था से ही कुंदनलाल सहगल के गायन का दीवाना प्रशंसक बनने से मुकेश को दो बहुत बड़े लाभ हुए| एक तो दुःख के भाव को गायन में प्रदर्शित करने में उन्हें सहजता प्राप्त हो गई और दूसरे गीत में... Continue Reading →
क्या दिलीप कुमार और भारत रत्न के बीच कुछ फासले हैं? यह तो सर्वत्र स्वीकृत बात है कि हिन्दी सिनेमा में नायक की भूमिकाएं निभाने वाले अभिनेताओं में वे चुनींदा सर्वश्रेष्ठ अभिनेताओं में से एक रहे हैं बल्कि हिन्दी सिने... Continue Reading →
मौन साधा परदे पर तो ऐसा कि सन्नाटे के छंद ही बुन दिए और बकर बकर बोल हास्य रचा तो ऐसा कि लगा अभिनेता दिलीप कुमार को ट्रेजडी किंग का खिताब कैसे दे दिया लोगों ने, यह अभिनेता तो हास्य... Continue Reading →
पिछली सदी के सत्तर के दशक में बी आर चोपड़ा ने एक बेहतरीन मर्डर मिस्ट्री बनाई थी – धुंध, जिसमें अपने पति के खून का आरोप है रानी (जीनत अमान) पर| २०१३ में फ़िल्म आई क्वीन, जिसकी दिल्ली वासी रानी... Continue Reading →
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